60 हजार रुपये आय वालों को मिल सकता है लाभ
दिवाला एवं शोधन अक्षमता के तहत ‘नई शुरुआत’ योजना में कई नियम-शर्तें हैं, इसमें एक यह भी है कि कर्जदार की सालाना आय 60 हजार रुपये से ज्यादा नहीं होनी चाहिए। साथ ही कर्जदार की कुल संपत्ति 20 हजार रुपये से ज्यादा नहीं हो और ब्याज और अन्य देनदारियों को जोड़कर कर्ज 35 हजार रुपये से ज्यादा नहीं होना चाहिए। किसी व्यक्ति के पास घर है तो भी उसे इसका लाभ नहीं मिलेगा।
10 हजार करोड़ रुपये योजना पर खर्च कर सकती है सरकार।
05 साल तक दोबारा लाभ नहीं ले पाएंगे कर्ज माफी पाने के बाद।
गांव-कस्बों के लोगों को मिलेगा फायदा
सूक्ष्म वित्त उद्योग समूह की कंपनी गांव-कस्बों में छोटे-छोटे कर्ज बांटती हैं। इसमें पशु खरीदने, छोटी दुकान खोलने से लेकर कारोबारी ऋण शामिल है। ऐसे में यह राहत दी जाती है तो उद्योग समूह के साथ कर्जदाता को बड़ी राहत मिलेगी। गौरतलब है कि गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियों में सूक्ष्म वित्तीय उद्योग समूहों के लिए कर्ज जुटाना काफी महंगा हो गया है।